राष्ट्रीय सुरक्षा पर बड़ा फोकस:- अज की बड़ी खबर आपको बतादे राष्ट्रीय सुरक्षा पर बड़ा फोकस करने की तेयारी चल रही है केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शुक्रवार को राजधानी में आयोजित 8वें राष्ट्रीय सुरक्षा रणनीति सम्मेलन के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए आतंकी गतिविधियों, नशे के अवैध व्यापार और डिजिटल संचार के दुरुपयोग पर गंभीर चिंता जताई। उन्होंने इन खतरों से प्रभावी रूप से निपटने के लिए कड़े और ठोस उपाय अपनाने के निर्देश दिए है

Image:- Amar Ujala

एन्क्रिप्टेड प्लेटफॉर्म्स पर आतंकियों की नजर

आपको बतादे गृह मंत्री ने विशेष रूप से एन्क्रिप्टेड मैसेजिंग प्लेटफॉर्म्स और सोशल मीडिया के जरिए हो रहे आतंकी संचार का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि देश की सुरक्षा के लिए इन माध्यमों पर नियंत्रण जरूरी है और इसके लिए एक विशेष तकनीकी मंच (dedicated platform) की स्थापना की जानी चाहिए जो आतंकवादी नेटवर्क की डिजिटल गतिविधियों की निगरानी कर सके।

भगोड़े आतंकियों की वापसी के लिए कड़े निर्देश

श्री शाह ने आतंकी और तस्करी नेटवर्क में शामिल भगोड़े अपराधियों को वापस लाने के लिए एक मजबूत अंतर-एजेंसी समन्वय स्थापित करने का सुझाव दिया। उन्होंने केंद्रीय और राज्य स्तर की कानून प्रवर्तन एजेंसियों के बीच बेहतर तालमेल पर जोर दिया ताकि आतंकवाद और संगठित अपराध के घरेलू गठजोड़ को तोड़ा जा सके।

नशा, द्वीप सुरक्षा और भीड़ प्रबंधन पर भी चर्चा

सम्मेलन में देशभर से आए करीब 800 वरिष्ठ अधिकारी – कुछ फिजिकली और कुछ वर्चुअली – शामिल हुए। पहले दिन की बैठक में ड्रग तस्करी, बाहरी तत्वों की घुसपैठ, और द्वीप व भीड़ नियंत्रण जैसे मुद्दों पर चर्चा हुई। गृह मंत्रालय ने यह भी स्पष्ट किया कि पुलिस संगठनों को स्वदेशी तकनीक का उपयोग बढ़ाना होगा।

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दूसरे दिन का एजेंडा: आतंकवाद-विरोधी रणनीति और बंदरगाह सुरक्षा

सम्मेलन के दूसरे दिन का फोकस नागरिक उड्डयन और बंदरगाहों की सुरक्षा, वामपंथी उग्रवाद, नशीले पदार्थों की रोकथाम और आतंकवाद-निरोध के उपायों पर रहेगा। बैठक में गृह सचिव, उप राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार, और CAPFs व केंद्रीय पुलिस संगठनों के प्रमुख अधिकारी हिस्सा लेंगे।

सम्मेलन की पृष्ठभूमि: मोदी सरकार की रणनीतिक पहल

यह सम्मेलन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 2016 में दिए गए निर्देशों के तहत शुरू किया गया था, जिसका उद्देश्य जमीनी स्तर पर काम करने वाले अधिकारियों के अनुभवों और क्षेत्रीय विशेषज्ञता के जरिए राष्ट्रीय सुरक्षा रणनीति को मजबूत बनाना है। वर्ष 2021 से यह सम्मेलन हाइब्रिड मोड में आयोजित किया जा रहा है।राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़े इन प्रमुख मुद्दों पर गहन चर्चा और ठोस कदमों की घोषणा से यह स्पष्ट है कि केंद्र सरकार अब तकनीक, तालमेल और टारगेटेड एक्शन के जरिए देश को हर स्तर पर सुरक्षित बनाने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रही है।