भारत का कूटनीतिक अभियान:- पाकिस्तान समर्थित आतंकवाद पर वैश्विक मंचों पर भारत का पक्ष मजबूती से रखने के उद्देश्य से केंद्र सरकार ने एक महत्वपूर्ण कूटनीतिक पहल की है। विदेश सचिव विक्रम मिस्री की अगुवाई में सात सर्वदलीय संसदीय प्रतिनिधिमंडलों को विशेष ब्रीफिंग दी गई है, जिससे ये प्रतिनिधिमंडल विभिन्न देशों की यात्रा कर भारत के विचारों को अंतरराष्ट्रीय समुदाय तक पहुंचा सके

पहलगाम हमले और ऑपरेशन सिंदूर के बाद कूटनीतिक एकजुटता की तैयारी
हाल ही में हुए पहलगाम आतंकी हमले और उसके जवाब में चलाए गए ऑपरेशन ‘सिंदूर’ के बाद भारत अंतरराष्ट्रीय मंचों पर अपनी बात सटीक रूप में रखने को लेकर गंभीर है। इसी क्रम में विदेश सचिव ने तीन प्रमुख प्रतिनिधिमंडलों को रणनीतिक जानकारी दी, जिसमें एजेंडे, बिंदु और तथ्यात्मक स्थिति साझा की गई।
अभिषेक बनर्जी की सहभागिता, विपक्ष और सरकार एक साथ
टीएमसी सांसद अभिषेक बनर्जी ने भी इस बैठक में भाग लिया, जो इस पहल की सर्वदलीय भावना को दर्शाता है। गौरतलब है कि उनकी पार्टी ने पहले इस निर्णय पर आपत्ति जताई थी, लेकिन बनर्जी ने जापान, कोरिया, मलेशिया, इंडोनेशिया और सिंगापुर यात्रा करने वाले दल का हिस्सा बनकर संवाद की पहल को समर्थन दिया है।
प्रतिनिधिमंडलों के प्रमुख गंतव्य और नेतृत्व
सऊदी अरब, कुवैत, बहरीन और अल्जीरिया
भाजपा सांसद बैजयंत पांडा के नेतृत्व में सात सांसद इस दल में शामिल हैं, जिनमें असदुद्दीन ओवैसी, गुलाम नबी आजाद और निशिकांत दुबे जैसे नाम प्रमुख हैं। वरिष्ठ राजनयिक हर्षवर्धन शृंगला इनका मार्गदर्शन करेंगे।
यूके, फ्रांस, जर्मनी और यूरोप के देश
पूर्व केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद के नेतृत्व में यह प्रतिनिधिमंडल यूरोप की अहम राजधानियों की यात्रा करेगा। इस दल में प्रियंका चतुर्वेदी, डी पुंडरेश्वरी, एमजे अकबर और अन्य सांसद शामिल हैं।
जापान, कोरिया, मलेशिया, सिंगापुर, इंडोनेशिया
जदयू सांसद संजय झा इस दल का नेतृत्व कर रहे हैं। प्रतिनिधिमंडल में अपराजिता सारंगी, युसूफ पठान, सलमान खुर्शीद और अन्य सांसद शामिल हैं।
यूएई और पश्चिम अफ्रीकी देश
शिवसेना सांसद श्रीकांत शिंदे की अगुवाई में यह दल यूएई, कांगो और लाइबेरिया की यात्रा करेगा। इसमें बांसुरी स्वराज, अतुल गर्ग और सस्मित पात्रा जैसे सांसद शामिल हैं।
अमेरिका और लैटिन अमेरिकी देश
शशि थरूर के नेतृत्व में एक संसदीय प्रतिनिधिमंडल अमेरिका, ब्राज़ील, कोलंबिया और पनामा की यात्रा पर जाएगा। इस यात्रा में तेजस्वी सूर्या, मिलिंद देवड़ा और मनीष तिवारी जैसे प्रमुख सांसद शामिल होंगे।
स्पेन, रूस और यूरोपीय देश
डीएमके सांसद कनिमोझी के नेतृत्व में यह दल स्पेन, स्लोवेनिया, लातविया और रूस का दौरा करेगा। इसमें सपा, एनसी, आप और भाजपा के सांसद शामिल हैं।
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मिस्र, कतर और अफ्रीकी देश
एनसीपी की सुप्रिया सुले के नेतृत्व में यह दल मिस्र, कतर, दक्षिण अफ्रीका और इथियोपिया जाएगा। राजीव प्रताप रूड़ी, अनुराग ठाकुर और मनीष तिवारी जैसे वरिष्ठ सांसद इसमें शामिल हैं।
राजनीतिक एकता और रणनीतिक संवाद
इस पहल में दिलचस्प बात यह है कि इसमें सभी प्रमुख राजनीतिक दलों के सांसद शामिल हैं—भाजपा, कांग्रेस, टीएमसी, शिवसेना, जेडीयू, डीएमके, सपा, एनसीपी, और अन्य क्षेत्रीय दल। यह भारत की विदेश नीति में सामूहिक दृष्टिकोण और कूटनीतिक जिम्मेदारी की भावना को दर्शाता है।
निष्कर्ष
इन प्रतिनिधिमंडलों का उद्देश्य केवल आतंकवाद के खिलाफ भारत का पक्ष रखना नहीं है, बल्कि यह यह भी दिखाना है कि भारतीय लोकतंत्र विभिन्न विचारों के साथ भी राष्ट्रीय हितों पर एकजुट है। भारत अब आतंकवाद के खिलाफ अपनी लड़ाई को केवल सीमाओं तक सीमित नहीं रख रहा, बल्कि वैश्विक मंचों तक ले जाकर एक बड़ा नैरेटिव तैयार कर रहा है।